कल्पना करिए एक विशाल बंजर जमीन उस पर बड़ी-बड़ी लाइनें और उन सभी बड़ी-बड़ी लाइनों से बनी गई इंसान, बंदर, चिड़िया, बिल्ली आदि की कलाकृतियां। इन सभी कलाकृतियों को नज़का लाइन के रूप में जाना जाता है जो काफी रहस्यमई है।
नज़का लाइन पेरू में स्थित है। जब भी कोई आम इंसान जमीन से इन लाइनों को दिखता है तब उसे सामान्य लाइने लगती है मगर जब हवाई माध्यम से यानी कि हेलीकॉप्टर या जहाज से इन सभी लाइनों को एक साथ देखा जाता है तो अलग-अलग कलाकृतियां बनती है। पता चलता है कि यह केवल एक लाइन नहीं बल्कि पूरा का पूरा आकृति है।
आपको बता दूं कि यह नज़का लाइने कुछ सैकड़ो साल पुरानी नहीं बल्कि 2000 साल पुरानी है।
नज़का लाइन अद्भुत तो है ही और साथ में या अपने साथ ढेर सारे सवाल उत्पन्न करता है जब इन सवालों का जवाब हम इंसानों को नहीं पता होता है तो यह रहस्य बन जाता है। तो चलिए जान लेते हैं कि नज़का लाइन का रहस्य क्या है?
नज़का लाइन का रहस्य क्या है?
नज़का लाइन को देख कर मन में कई सारे सवाल आते है उन सवाल के जवाब नहीं मिलाने पर वो रहस्य बन जाते है आइये नज़का लाइन के रहस्य क्या है वो जानते है
- नज़का लाइन को क्यो बनाया गया? यह सबसे बड़ा सवाल है।
- इतने विशाल कलाकृति 2000 साल पहले कैसे लोगों ने बनाई ?
- जब उस समय उड़ने का कोई साधन नहीं था तब कलाकृतियों को नाज का के लोगों ने कैसे बनाई होगी?
- क्या नज़का लाइन को एलियंस ने बनाया है?
- नजका लाइंस आखिर क्यों बनाया गया था?
- कुछ-कुछ आकृतियां जो इंसानों की समझ से बाहर है आखिर उसका क्या मतलब है?
- एक आकृति में इंसान जो कि स्पेस सूट पहना हुआ है ऐसा आकृति बना है?
- एक जगह स्पेस शिप का भी चित्र बनाया गया है?
यह सभी सवाल है जो नज़का लाइन को रहस्यमय बनाते हैं। हालांकि उनमें से कुछ सवालों के जवाब थिअरी के आधार पर दिए जा सकते हैं। मगर सच क्या है या आज तक रहस्य ही बना हुआ है।
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नजका लाइंस कैसे बनाया गया?
नजका लाइंस पेरु के रेगिस्तान में स्थित है यहां की जमीन बंजर लाल और भूरे कंकड़ से पूरा एरिया ढका हुआ है। जब इन कंकडों को हटाया जाता है तो अंदर से हल्के कलर की मिट्टी दिखाई देती है। बस यही कंकडों को हटा-हटा कर नजका लाइंस बनाया गया है। इन लाइनों की गहराई 10 से 15 cm है। हालांकि इन लाइनों की चौड़ाई हर जगह एक समान नहीं है।
हैरानी होती है ना जानकर कि 2000 साल पहले जब उड़ने का कोई साधन नहीं था। तब यह कैसे बनाया गया होगा! क्योंकि जमीन से इन आकृतियों को बनाना इंसानों के लिए तो असंभव है!!
आपको बता दु कि यहां 70 से भी अधिक जियेमेट्रिक आकृति है।यहाँ की सबसे बड़ी आकृति 1200 फुट है। इसके अलावा और भी कौन-कौन से आकृति कितनी बड़ी है जहां पर जान लेते हैं
- हमिंग बर्ड 305 फुट
- बंदर 305* 190
- मकड़ी 154 फुट
नजका लाइंस की फोटो
हम यहाँ नजका लाइंस कुछ फोटो देखते है
नज़का लाइन क्यों बनाया गया था?
देखिए नजका लाइंस क्यों बनाया गया था? इसका सटिक जवाब तो किसी के पास भी नहीं है।यहां तक कि पेरू के प्रसिद्ध इतिहासकारों के पास भी नजका लाइंस से जुड़ा हुआ कोई भी दस्तावेज या जानकारी नहीं है।नजका लाइंस से जुड़ी हुई थियरी है जिसके आधार पर हम यह कह सकते हैं कि नाश्ता लाइन आखिर क्यों बनाया गया था।
तो चलिए जानते हैं
थियरी 1
कुछ इतिहास का ऐसा मानते हैं कि पेरू के लोग बड़े ही धार्मिक होते थे। उनका मानना था कि भगवान हमें ऊपर से देखते हैं। उन्हें खुश करने के लिए उन्होंने जमीन पर डिजाइन बनाई होगी।
थियरी 2
वही इतिहासकारों का दूसरा वर्ग यह मानता है कि यह एलियंस के लिए बनाया गया है। पेरू के लोगों का संपर्क एलियंस से था।इसका सबसे बड़ा प्रमाण स्पेसशूट पहना आदमी और हवाई पट्टी जैसी आकृति है। यहाँ स्पेसशिप जैसी आकृति भी देखी गई है।यही सब आधार पर कहा जा सकता है कि नजका लाइंस पेरु के लोगों ने एलियंस के लिए बनाई थी।
दोनों थिअरी आपस में एक संबंध बनाती है पहले थिअरी में भगवान के लिए और दूसरी थैली में एलियंस के लिए!तो क्या बड़ा सवाल यह है कि पेरू के लोगों के लिए भगवान ही एलियंस थे या एलियम ही भगवान थे। आपका इस बात पर क्या विचार हैं हमें कमेंट करके बताइए।
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क्या नजका लाइंस को एलियंस ने बनाया था?
शायद हां, क्योंकि देखिए 2000 साल पहले की बात छोड़िए! आज के समय में भी ऐसी आकृति बनाना हम इंसानों के लिए थोड़ा मुश्किल है। तो यह काम 2000 साल पहले पेरू लोगों ने बिना किसी टेक्नोलॉजी के और बिना किसी उड़ने के साधन के यह काम कर दिया। हो ना हो कहीं ना कहीं यह परग्रही की ही कारीगरी है।
सभी आकृतियों में एक हवाई पट्टी जैसा भी कुछ है यह ठीक उसी तरह है जैसे कोई हवाई जहाज का रनवे होता है। इतिहासकार ऐसा बताते हैं कि एलियंस ने धरती के एक जगह को चिन्हित करने के लिए यह आकृतियां बनाई होगी।
नजका लाइंस अभी तक मिटी क्यों नहीं?
किसी भी व्यक्ति के मन में यह सवाल आ सकता है कि “आखिर 2000 साल पुरानी लाइन अभी तक कैसे जीवित है” तो इसका जवाब भी शोध में पाया गया।
दरअसल पेरू जिस रेगिस्तान इलाके में यह नजका लाइंस बनाई गई है।वहां बरसात ना के बराबर होती है हवा भी एकदम मंद मंद चलती है। लाइनों पर शीत की वजह से मिट्टी पर नमी की परत और धूप से लाइनों पर एक सुरक्षा कवच जैसा बन जाता है। इसलिए नजका लाइंस अभी तक नही मिटी!
सबसे बड़ी बात यह है कि जिस स्थान पर यह रेखाएं है वहां ना कोई इंसानों की बस्ती है और ना ही कोई जानवर। इसीलिए 2000 सालों से यह लाइनें सुरक्षित है।
आप कौन आज का नजका लाइंस के बारे में यह जानकारी कैसी लगी हमें कमेंट करके जरूर बताइए।
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Hi,मै अंकित शाह हूँ। मै इस वेबसाइट का मालिक और लेखक हूँ। पेशे से में एक लेखक और छोटा बिजनेसमैन हूं । मैं 20 साल का हूं और लेखन में मेरी काफी रूची है वैसे तो मैं मूल रूप से छपरा बिहार का हूं मगर मेरी कर्मभूमि सूरत गुजरात है।